चंडीगढ़(मयंक मिश्रा): शहर के सभी सरकारी अस्पतालों में अब मैन्यूल तरीके से अटेंडेंस नहीं लगेगी। सोमवार से ऐसे में अब सभी सरकारी अस्पतालों में फेस रिकॉग्निशन अटेंडेंस सिस्टम शुरू किया जा रहा है, जिससे अब हेल्थ वर्करों को अटेंडेंस मशीन के सामने आकर खड़ा होना होगा, उसके बाद ही उस हेल्थ वर्कर की अटेंडेंस दर्ज की जाएगी। इसके लिए शहर के सरकारी अस्पताल जीएसमीएच-32 और जीएमएसएच-16 में यह मशीन लगाने की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है।
औचक निरीक्षण में यह बात सामने आई है कि....
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार बीते कई महीनों में अस्पतालों में किए गए औचक निरीक्षण में यह बात सामने आई है कि स्वास्थ्यकर्मी समय पर ड्यूटी नहीं आ रहे हैं, जिसका खामियाजा मरीजों को भुगतना पड़ता है। समय पर डॉक्टरों, नर्सिंग आफिसरों और अन्य स्वास्थ्यकर्मियों का समय पर ड्यूटी पर न आने की वजह से मरीजों को इलाज के लिए धक्के खाने पड़ते हैं। गवर्नमेंट मेडिकल स्पेशिएलिटी अस्पताल सेक्टर-16 (जीएमएसएच-16) के लिए 10 फेस रिकॉग्निशन अटेंडेंस के लिए 10 मशीनें जेम पोर्टल के जरिए खरीदने के लिए टेंडर निकाला गया था।
अटेंडेंस सिस्टम प्रक्रिया जल्द शुरू करने के आदेश लेकिन....
ऐसे में जीएमएसएच-16 के सभी स्वास्थ्य कर्मियों को इस मशीन पर अपनी अटेंडेंस दर्ज करानी होगी। गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल सेक्टर-32 (जीएमसीएच-32) में एक साल से अधिक समय हो गया है। आरएफआईडी कार्ड खरीदे हुए। लेकिन इन आरएफआईडी कार्ड को अब तक स्वास्थ्य कर्मियों की हाजिरी लगाने की प्रक्रिया में इस्तेमाल करना शुरू नहीं किया गया। ऐसे में अस्पताल प्रशासन को बायोमैट्रिक, आरएफआईडी या फिर फेस रिकॉग्निशन अटेंडेंस सिस्टम प्रक्रिया जल्द शुरू करने के आदेश दिए थे।
कर्मचारियों की लापरवाही
गौरतलब है कि स्वास्थ्य सचिव ने होली से एक दिन पहले शहर के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में रात के समय औचक निरीक्षण किया था। इस दौरान अस्पतालों में कर्मचारियों की लापरवाही सामने आई थी। कई डॉक्टर ड्यूटी पर तैनात नहीं थे तो वहीं कुछ ड्यूटी के दौरान सो रहे थे। इसके बाद स्वास्थ्य सचिव ने कार्रवाई के आदेश भी जारी किए थे। इससे पहले चंडीगढ़ हाउसिंग बोर्ड ने एक कदम आगे बढ़कर ‘फेस स्कैनर’ लगाए गए हैं। इसके तहत कर्मचारियों व अधिकारी चेहरा दिखाकर अपनी उपस्थिति दर्ज करवा रहे हैं।
एक मार्च से यह नई व्यवस्था लागू हुई थी। पुराने बायोमीट्रिक उपस्थिति व्यवस्था को खत्म कर दिया गया है। सीएचबी अपनी अधिकतम सेवाओं को ऑनलाइन कर चुका हैं और जो सेवाएं रह गई हैं, उनको भी जल्द पूरा करने का प्रयास कर रहे हैं। कोरोना काल के दौरान बायोमीट्रिक उपस्थिति व्यवस्था से भी संक्रमण फैलने का खतरा रहा। यही कारण है कि अधिकतर सरकारी और निजी कार्यालयों में इसको बंद करना पड़ा है।