चंडीगढ़ (वैभव शर्मा): जी-20 की शुरूआत सोमवार को शहर में हुई। इस दौरान कई देशों के प्रतिनिधियों ने कार्यक्रम में शिरकत की। जोर शोर से सभी प्रतिनिधियों का स्वागत किया गया। कार्यक्रम का उद्दाटन केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री पशुपति कुमार पारस ने किया। अपने संबोधन में केंद्रीय मंत्री तोमर ने जी-20 से जुड़े सभी प्रतिनिधियों को नमस्कार किया। उन्होंने कहा कि आप सभी का हमारे देश के इस खूबसूरत शहर चंडीगढ़ में आए है, जहां वह उनका हार्दिक स्वागत-अभिनंदन करते है। उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि दुनिया के विभिन्न स्थानों से आकर आपको इस शहर में सकून व शांति का अनुभव होगा और अपने निर्धारित कार्यक्रम में से आपको कुछ समय चंडीगढ़ घूमने को मिलेगा।
कोविड ने बदला बातचीत करने का तौर तरीका
तोमर ने कहा कि कोविड महामारी के कारण पिछले दो-तीन साल हम सभी के लिए विशेष रूप से चुनौतीपूर्ण रहे और इस दौरान हमने एक-दूसरे के साथ बातचीत करने के तरीके को बदल दिया था...
जी-20 की अध्यक्षता पूरे देशवासियों के लिए गर्व की बात
उन्होंनें कहा कि जी-20 की अध्यक्षता करना भारत के सभी नागरिकों के लिए गर्व का क्षण है। साथ ही इस ऐतिहासिक अवसर के साथ आने वाली जिम्मेदारियों से भली भांति परिचित हैं। आज दुनिया अनेक जटिल चुनौतियों का सामना कर रही है, जो गहराई से एक-दूसरे से जुड़ी हुई हैं और केवल सीमाओं द्वारा परिभाषित नहीं की जाती हैं।
चुनौतियों की वैश्विक प्रकृति के लिए वैश्विक समाधान की ही आवश्यकता
उन्होंने सभी देशों के सामने वाली चुनौतियों के बारे में भी बात की। उन्होंने कहा कि जिन चुनौतियों का सामना किया जा रहा है, वे वैश्विक प्रकृति की हैं और इनके लिए वैश्विक समाधान की ही आवश्यकता है। इसलिए विश्व समुदाय को आज वैश्विक रूप से समन्वित नीतियों तथा कार्यों की ओर अधिक जोर देने की आवश्यकता है। बहुपक्षवाद में नए सिरे से विश्वास करने की भी आवश्यकता है।
लोकतंत्र और बहुपक्षवाद के लिए पूर्णत
तोमर ने प्रतिनधियों को संबोधित करते हुए कहा कि लोकतंत्र और बहुपक्षवाद के लिए पूर्णत प्रतिबद्ध हमारा राष्ट्र न केवल बहुआयामी विकास को प्रदर्शित करने के लिए तैयार है बल्कि सार्वभौमिक रूप से मान्य शक्ति भी प्रदर्शित करने के लिए तैयार है। इसमें कोई आश्चर्य नहीं है कि हाल ही में आयोजित विश्व आर्थिक मंच में, भारत को नाजुक दुनिया में एक उज्ज्वल रोशनी के रूप में वर्णित किया गया। जलवायु लक्ष्यों के प्रति भारत की प्रतिबद्धता व कोविड बाद विकास पथ पर लौटने की सभी ने सराहना की।
विज्ञान और नवाचार से हो रहा भारत का तेज विकास
उन्होंने कहा कि विज्ञान व नवाचार से भारत का विकास तेजी से हो रहा है, ये दोनों भारत के भविष्य के साथ गहराई से जुड़े हुए हैं। हमने डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचा बनाने के लिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठाया है। वैश्विक स्वास्थ्य देखभाल में वित्तीय समावेशन, धारणीय ऊर्जा की ओर गमन में हमारा उल्लेखनीय योगदान रहा है और विकास की जन-केंद्रितता हमारी राष्ट्रीय रणनीति का आधार है।